देहरादून समाचार: देहरादून शहर में डेंगू संक्रमण का प्रकोप बढ़ रहा है, और प्रतिदिन नए मरीज डेंगू के प्रभाव में आ रहे हैं। हाल के गुरुवार को भी इस बीमारी के प्रकोप की पुष्टि हो गई है, जिसमें पांच और लोग शामिल हैं। इन नए मरीजों में से एक मरीज वर्तमान में जिला चिकित्सालय (कोरोनेशन) में भर्ती है, जबकि चार मरीज श्री महंत इंदिरेश अस्पताल में इलाज के तहत हैं। जिले में अब तक 174 डेंगू के मामले सामने आए हैं, और इसमें से 150 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं। हाल ही में सक्रिय मामलों की संख्या 24 है।
उत्तराखंड में बारिश के दौरान मौसमी बीमारियों के प्रसार में वृद्धि हो रही है, और इससे डेंगू के मरीजों की संख्या में भी वृद्धि देखने को मिल रही है। इस बदलते स्थिति के संबंध में, दून मेडिकल कॉलेज चिकित्सालय ने डेंगू के मरीजों के लिए अतिरिक्त बिस्तरों की व्यवस्था की है। अब तक, अस्पताल में 30 अतिरिक्त बिस्तर सुरक्षित रखे गए थे, जो अब 60 बढ़ गए हैं। जिले में डेंगू के मरीजों की तादात लगातार बढ़ रही है।
हर दिन नए डेंगू मरीज सामने आ रहे हैं, जो इस बीमारी के प्रसार की चिंता बढ़ा रहे हैं। गुरुवार को भी पांच और लोगों में डेंगू की पुष्टि हो गई है। इनमें से एक मरीज जिला चिकित्सालय (कोरोनेशन) में इलाज के तहत भर्ती है, जबकि चार मरीज श्री महंत इंदिरेश अस्पताल में हैं। अब तक जिले में 174 डेंगू के मामले सामने आए हैं, और इसमें से 150 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं। हाल ही में सक्रिय मामलों की संख्या 24 है।
दून मेडिकल कॉलेज चिकित्सालय के चिकित्सा अधीक्षक, डॉ. अनुराग अग्रवाल, ने बताया कि अभी तक दो वार्डों में 30 बिस्तर थे, लेकिन डेंगू मरीजों की संख्या में वृद्धि को देखते हुए सर्जिकल वार्ड में 30 अतिरिक्त बिस्तरों की व्यवस्था की गई है। अस्पतालों में बढ़ रहे मरीजों के साथ-साथ, उनकी देखभाल में भी वृद्धि की जा रही है।
बाल रोग विभाग में बिस्तरों की कमी होने के साथ-साथ, दून मेडिकल कॉलेज चिकित्सालय में बाल रोग विभाग में सभी बिस्तरों की संख्या पूरी हो गई है। इससे यह स्थिति उत्तराधिकृत हो गई है कि अधिक बिस्तर प्राप्त करने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। चिकित्सा अधीक्षक ने बताया कि बाल रोग विभाग में 105 बिस्तर होते हैं, जिनमें से सभी वर्तमान में इस्तेमाल में हैं। विभाग में बिस्तरों की संख्या में वृद्धि करने की व्यवस्था करने के लिए यह संभावना है कि बाल रोग विभाग में 24 और बिस्तर बढ़ाए जा सकते हैं। इसके लिए उपयुक्त स्थान की खोज की जा रही है।